14 जुलाई 2010

मंगल मन्त्र -२

मंगल गायत्री मन्त्र :-

॥ ऊं अंगारकाय विद्महे शक्तिहस्ताय धीमहि तन्नौ भौमः प्रचोदयात ॥

8 जुलाई 2010

गणपति स्तवन

सुमुखश्चैकदन्तश्च कपिलो गजकर्णकः | 
लम्बोदरश्च विकटो विघ्ननाशो विनायकः।
धुम्रकेतुर्धनाध्यक्षो भालचन्द्रो गजाननः| 
द्वादशैती नामानि पठेद्श्रुनुयादपी | 
विद्यारंभे विवाहे च संग्रामे संकटे तथा विघ्नस्तस्य न जायते ||